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गुरुवार, 13 जनवरी 2022

विषय :- हिन्दी । रचनाकार :- आ. नृपेन्द्र कुमार चतुर्वेदी जी 🏆🏅🏆

#कलम बोलती है साहित्य समूह
 #मंच को सादर नमन।
# दो दिवसीय आयोजन
# विषय क्रमांक 383
 #विधा-- कविता।
 #विषय --हिंदी ।
#दिनांक-- 10 जनवरी 2022
#दिन--- सोमवार
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राष्ट्रभाषा मातृ भाषा,देश का सम्मान बढ़ाती है हिन्दी ।
अभिमान स्वाभिमान,गौरव की प्रतीक है हिंद की हिंदी।
देश की आन बान शान ,सुहाग का सिंदूर है हिन्दी। चूड़ी कंगन कुंडल मुदरी ,पायल बिछिया है हिन्दी।

 हमारा प्यारा हिंदुस्तान का,सम्मान बढ़ाती है हिंदी।
विंध्य हिमाचल की चोटी का,सम्मान बढाती है हिंदी।
हिन्दी को हमने पहचाना,राष्ट्र भाषा है इसको माना।
 फिर भी है यह देश,जनाना, गुलामी का ओड़े बाना।

मानसिकता हमें अपनी अब ,खुद बदलनी चाहिए। गुलामी की जंजीरों की ,कड़ियों को तोड़ देना चाहिए।

 थोपी हुई अंग्रेजी से हमको, अब मोह त्यागना चाहिए। भाषा पराई है कह उसे अब,प्यार से छोड़ देना चाहिए।

कार्य सरकारी सब अंग्रेजी में,उनको हमें छोड़ना होगा। हिन्दी में सब कार्य संचालित, यह कानून बनाना होगा।

 मातृभाषा ,राष्ट्रभाषा,हिन्दी पर गर्व करना चाहिए। हिंदी दिवस है सौगंध ले,सब कार्य हिंदी में होना चाहिए।

 मैं यह घोषित करता हूं कि यह मेरी स्वरचित अप्रकाशित मौलिक रचना वह आपको प्रकाशन की अनुमति देता हूं।
नृपेन्द्र कुमार चतुर्वेदी
 एडवोकेट।
प्रयागराज उत्तर प्रदेश

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